ट्रम्प की जीत से डॉलर में उछाल, सोने की कीमतों में गिरावट
नव॰, 7 2024ट्रम्प की जीत से डॉलर की उछाल और सोने की कीमतों में गिरावट
मार्च 6, 2024 को दुनिया के बाजारों ने एक अद्भुत राजनैतिक घटना दर्ज की, जब डोनाल्ड ट्रम्प दूसरी बार अमेरिकी राष्ट्रपति के तौर पर चुने गए। इसका सीधा असर वित्तीय बाजारों पर पड़ा, विशेष रूप से सोने की कीमतों पर, जो तीन हफ्ते के निचले स्तर पर आ गई। सोने की कीमत $2,703.93 प्रति औंस तक टूट गई, जबकि अमेरिकी सोने के वायदा में भी 1.3% की गिरावट देखी गई। यह डॉलर में चार महीने के उच्च स्तर पर उछाल के कारण हुआ, जिससे दूसरी मुद्राओं के लिए सोना महंगा हो गया।
डॉलर की मजबूती और मुद्रास्फीति की संभावनाएँ
डॉलर की इस मजबूती के पीछे प्रमुख कारण यह विचार है कि ट्रम्प के नेतृत्व में अमेरिका अधिक कड़े टैरिफ लागू कर सकता है, जो ब्याज दरों को ऊँचा बनाए रख सकता है। इस संदर्भ में Ole Hansen, जो Saxo Bank में कमोडिटी स्ट्रेटेजी के प्रमुख हैं, कहते हैं कि सोना उस जोखिम के बीच फंसा हुआ है जो उभरती मंहगाई से जुड़ा है और अमेरिकी दरों में कटौती की धीमी रफ्तार पर भी असर डाल सकता है।
हेंसन के अनुसार, सोने ने पिछले कुछ सालों में रिपब्लिकन और डेमोक्रेटिक दोनों प्रशासन के दौरान अच्छा प्रदर्शन किया है। ट्रम्प के पहले कार्यकाल में सोने की कीमतों में 54% की वृधि हुई थी और वर्तमान राष्ट्रपति जो बिडेन के अधीन यह लगभग 50% तक बढ़ चुकी है।
फेडरल रिजर्व का दो दिवसीय बैठक
फेडरल रिजर्व की दो दिवसीय नीति बैठक गुरुवार को समाप्त होगी, जहाँ बाजार काफी हद तक उम्मीद कर रहे हैं कि फेड 25-बेसिस प्वाइंट की कटौती की घोषणा करेगा। इससे पहले सितंबर में 50-बेसिस प्वाइंट की कटौती की गई थी। हालांकि, इसके बाद के बयानों को ध्यानपूर्वक पढ़ा जाएगा ताकि भविष्य की किसी भी संभावित ठहराव के संकेतों को समझा जा सके। जूलियस बियर के विश्लेषक कार्स्टन मेंके ने सोने के बाजार के लिए इस सवाल पर गौर किया कि ट्रम्प का वर्तमान संस्करण उनके आठ साल पहले वाले संस्करण से कितना अलग होगा।
अन्य कीमती धातुओं की गिरावट
सोने की कीमतों में गिरावट के साथ ही अन्य कीमती धातुएं भी इस गिरावट के दौर में शामिल हैं। स्पॉट सिल्वर 2.6% तक गिरकर $31.80 प्रति औंस पर आ गया, जबकि प्लैटिनम में 2% की गिरावट दर्ज करते हुए यह $979.65 पर बंद हुई। पैलेडियम भी 2.9% की गिरावट के साथ $1,044.75 पर पहुंच गया था। तीनों कीमती धातुओं ने तीन हफ्तों के निचले स्तर पर झुलान देखी।
बाजारों में अराजकता के बीच भविष्य की उम्मीदें
सोने की कीमतों में गिरावट सामान्यतः बाजार में एक संकेत होती है कि उथल-पुथल के मूल कारण गहरे हैं। हालांकि, निवेशकों का ध्यान अभी भी फेडरल रिजर्व की नीतियों पर टिका है। यदि अमेरिका में ब्याज दरें बढ़ीं, तो सोने की मांग पर इसका सीधा असर पड़ेगा।
लेकिन सोने ने हमेशा अराजकता के समय में एक सुरक्षित पनाहगार के रूप में प्रतिष्ठित किया है। इस संदर्भ में, निवेशकों को ध्येय और जोखिम के परिप्रेक्ष्य में सावधानीपूर्वक सोचना होगा और अपने निवेश रणनीतियाँ दोषपूर्ण नीति-निर्माण की बजाय दीर्घकालिक लाभ पर केंदित करने की कोशिश करनी होगी। यह महत्वपूर्ण है कि वैश्विक वित्तीय परिदृश्य को ध्यान में रखते हुए निवेशकों को उन्नत सलाह दी जाए।