शेफाली वर्मा का दोहरा शतक और स्मृति मंधाना की चमक, भारत-दक्षिण अफ्रीका महिला टेस्ट में रचा इतिहास
जून, 29 2024शेफाली वर्मा और स्मृति मंधाना की ऐतिहासिक पारी
चेन्नई के एमए चिदंबरम स्टेडियम में खेले जा रहे भारत और दक्षिण अफ्रीका महिला टीमों के एकमात्र टेस्ट मैच के पहले दिन भारतीय ओपनर्स शेफाली वर्मा और स्मृति मंधाना ने अपने शानदार प्रदर्शन से नया इतिहास रच दिया। दोनों खिलाड़ियों ने 292 रनों की विशाल साझेदारी की, जो महिला टेस्ट क्रिकेट के इतिहास में किसी भी विकेट के लिए अब तक की सबसे बड़ी साझेदारी है।
शेफाली वर्मा ने इस साझेदारी के दौरान अपनी आक्रामक बल्लेबाजी से सबको चकित कर दिया। उन्होंने 197 गेंदों में 205 रन बनाए, जिसमें 23 चौके और 8 छक्के शामिल थे। यह महिला टेस्ट क्रिकेट में सबसे तेज़ दोहरा शतक भी है। स्मृति मंधाना ने अपने साथी का बखूबी साथ दिया और 87 रनों की महत्वपूर्ण पारी खेली।
20 साल पुराना रिकॉर्ड टूटा
इस ऐतिहासिक साझेदारी ने 2004 में पाकिस्तान की साजिदा शाह और किरन बलूच द्वारा वेस्ट इंडीज के खिलाफ कराची में बनाए गए 241 रनों के रिकॉर्ड को तोड़ दिया। यह किसी भी विकेट के लिए महिला टेस्ट क्रिकेट में दूसरी सबसे बड़ी साझेदारी भी है। सबसे बड़ी साझेदारी का रिकॉर्ड 1987 में ऑस्ट्रेलिया की लालानी रीलर और डेनिस अनेट्स द्वारा इंग्लैंड के खिलाफ 309 रनों की साझेदारी का है।
यह साझेदारी भारतीय महिला क्रिकेट टीम की अब तक की सबसे बड़ी साझेदारी भी है, जिसने 2021 में इंग्लैंड के खिलाफ ब्रिस्टल में बनाए गए 167 रनों के उनके पिछले रिकॉर्ड को भी पार कर लिया। बीसीसीआई वीमेन टीम ने शेफाली वर्मा के इस अद्वितीय प्रदर्शन की तारीफ करते हुए इसे असाधारण करार दिया।
मैच का महत्व
यह टेस्ट मैच सिर्फ एक प्रतिष्ठित मुकाबला नहीं है, बल्कि महिला क्रिकेट के बढ़ते महत्व और उसके विकास को भी दर्शाता है। भारत और दक्षिण अफ्रीका की महिला टीमों के बीच इस प्रकार के मुकाबले से नई युवा खिलाड़ियों को प्रेरणा मिल रही है और उन्हें अपने कौशल को साबित करने का मौका मिल रहा है।
कैसे तैयार हुई शेफाली वर्मा
शेफाली वर्मा की इस कामयाबी के पीछे उनकी कड़ी मेहनत और तैयारी है। कोरोना महामारी के दौरान भी उन्होंने अपनी अभ्यास सत्र को जारी रखा और अपनी कोचिंग टीम और परिवार की मदद से अपने खेल को निरंतर सुधारते रही। इस उपलब्धि के बाद शेफाली वर्मा ने कहा कि उनकी यह पारी भारतीय महिला क्रिकेट को एक नई दिशा देने वाली है और वे अपने देश के लिए ऐसे और भी कई ऐतिहासिक पल लाना चाहती हैं।
स्मृति मंधाना की भूमिका
स्मृति मंधाना का भी इस साझेदारी में योगदान अतुलनीय है। उन्होंने एक जिम्मेदार और स्थिर पारी खेलकर शेफाली वर्मा को उनके खेल में सहारा दिया। स्मृति ने अपनी पारी में संयम और धैर्य का परिचय दिया, जिससे शेफाली आक्रामकता के साथ रन बना सकीं। उनकी यह साझेदारी महिला क्रिकेट में आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणा स्रोत बनेगी।
भविष्य की उम्मीदें
इस शानदार प्रदर्शन के बाद भारतीय महिला टीम की उम्मीदें और भी बढ़ गई हैं। टीम की अन्य खिलाड़ी भी इस साझेदारी से प्रेरित होकर आने वाले दिनों में और बेहतर प्रदर्शन करने की कोशिश करेंगी। यह महिला क्रिकेट के लिए एक बहुत बड़ा मोड़ साबित हो सकता है और आगामी टूर्नामेंटों में भारतीय टीम से और भी अच्छे प्रदर्शन की उम्मीद है।
इस मैच से भारतीय क्रिकेट प्रेमियों की उम्मीदें और बढ़ गई हैं। क्रिकेट प्रेमियों का मानना है कि भारतीय महिला टीम आने वाले दिनों में कई और रिकॉर्ड तोड़ते हुए सफलता के नए आयाम छुएगी।